चलो नया कुछ कीया करे
हम आंधीयोमें दिया करे
हवा, सुनहरी किरन, फ़िझां
मिलाके सब आशियां करे
जो ख्वाहीशें पुरी ही न हो
उन्हीमें क्युं कर, जीया करे
ज़्खम भी है, वो भी आयेंगे
दवा भी उस दरमियां करे
पिलाके सबको युं रात भर
बची सहर, वो पीया करें
हम आंधीयोमें दिया करे
हवा, सुनहरी किरन, फ़िझां
मिलाके सब आशियां करे
जो ख्वाहीशें पुरी ही न हो
उन्हीमें क्युं कर, जीया करे
ज़्खम भी है, वो भी आयेंगे
दवा भी उस दरमियां करे
पिलाके सबको युं रात भर
बची सहर, वो पीया करें
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